किन्नौर, रामपुर की अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय (पॉक्सो कोर्ट) ने नाबालिग से दुष्कर्म के एक मामले में दोषी को 20 वर्ष के कठोर कारावास और 20 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है। अदालत ने सरकार द्वारा संचालित पीड़ित मुआवजा योजना के तहत पीड़िता को एक लाख रुपए का मुआवजा देने का भी आदेश दिया है। घटना के वक्त पीडि़ता की उम्र 16 साल थी। दोषी युवक उसे जबरदस्ती ले गया और एक साल तक अपने पास रखा और विरोध करने पर जान से मारने की धमकी देता था। 2024 में पीडि़ता को उसके घर छोड़कर भाग गया। SFSL रिपोर्ट के साथ इस मामले में 19 गवाहों के बयान दर्ज किए गए। सरकार की ओर से इस मामले की पैरवी उप जिला न्यायवादी कमल चन्देल ने की। सिलसिलेवार जानिए घटना के बारे में: जान से मारने की धमकी देकर ले गया 2024 में पीडि़ता को उसके घर छोड़कर भाग गया था राहुल 2024 में आरोपी पीड़िता को उसके घर छोड़कर फरार हो गया। इसके बाद पीड़िता ने थाना कुमारसैन में आरोपी के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार किया। मुकदमे के दौरान अदालत में कुल 19 गवाहों के बयान दर्ज किए गए। उप जिला न्यायवादी कमल चन्देल ने बताया कि मामले में 23 वर्षीय राहुल, पुत्र बृज लाल, निवासी गांव चलुना, डाकघर शिवान, तहसील कुमारसैन, जिला शिमला को भारतीय दंड संहिता और पॉक्सो अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत दोषी ठहराया गया। उसे 20 साल के कठोर कारावास के साथ 20 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है।