बिहार विधानसभा चुनाव में जहां एक तरफ पार्टियां टिकट बांट रही हैं। वहीं कुछ पार्टियां टिकट बेचने में लगी हैं। सीट के हिसाब से इन टिकटों के रेट फिक्स किए जा रहे हैं। रेट का पैमाना जातीय समीकरण से लेकर पार्टी के कोर वोटर्स तक तय हो रहा है। इसी आधार पर पार्टियां कैंडिडेट्स से डील कर रही हैं। 5 से 10 लाख रुपए में टिकट, पार्टी का सपोर्ट और चुनाव प्रचार का पूरा पैकेज मिल रहा है। थर्ड फ्रंट की तैयारी कर रहे तेजप्रताप की पार्टी से जुड़े गठबंधन के साथी, बीजेपी से अलग होकर नई पार्टियां बनाकर टिकट बेच रहे हैं। पैसा लेकर टिकट बेचने वाली पार्टियों को एक्सपोज करने के लिए दैनिक भास्कर ने ‘ऑपरेशन टिकट के सौदागर’ का प्लान किया। भास्कर रिपोर्टर कैंडिडेट्स बनकर पॉलिटिकल पार्टियों के दफ्तर पहुंचे और बड़े नेताओं से टिकट की डील की। ‘ऑपरेशन टिकट के सौदागर’ पार्ट- 1 में पढ़िए और देखिए बिहार में पार्टियां कैंडिडेट्स को कैसे बेच रहीं टिकट… भास्कर रिपोर्टर कैंडिडेट बनकर पटना के कंकड़बाग स्थित विकासशील इंसान पार्टी (VVIP) के दफ्तर पहुंचे। कार्यालय पर काफी हलचल दिखी। टिकट की दावेदारी के लिए अलग-अलग जिलों से पहुंचे कैंडिडेट्स की भीड़ थी। यहां पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक छोटे सहनी और राष्ट्रीय महासचिव राकेश कुमार ने टिकट के लिए पैसे की पूरी डील की। रिपोर्टर – वीआईपी और वीवीआईपी में क्या अंतर है?
छोटे सहनी – VIP को मैंने खड़ा किया है। विकासशील इंसान पार्टी नाम भी मैंने ही रखा था। यहां तक कि रजिस्ट्रेशन भी मेरा करवाया है। रिपोर्टर – इसका फायदा मिलेगा कैंडिडेट्स को?
छोटे सहनी – VIP से मिलता-जुलता सब कुछ अपना है। नाव का प्रचार मुकेश जी कर रहे हैं, पूरे वोट आपको मिलेंगे। निषाद समाज हम लोगों के साथ जुड़ा है। रिपोर्टर – टिकट के लिए पार्टी के क्या नियम हैं?
राकेश कुमार – पार्टी के जो नियम हैं, उन्हें पूरा करना होगा। रिपोर्टर – क्या नियम पूरे करने होंगे?
राकेश कुमार – आप पार्टी में पहली बार आ रहे हैं, लेकिन हम आपकी मदद करेंगे। सिंबल भी देंगे, हर तरह की मदद करेंगे। आप बताएं आपकी तरफ से पार्टी को क्या योगदान होगा? रिपोर्टर – आप जो बताएं हम हर तरह से तैयार हैं।
राकेश कुमार – पार्टी की सदस्यता ले लीजिए। आपके मन में जो है, बता दीजिए। क्या सोचकर आप आए हैं, आप बता दीजिए। रिपोर्टर – आप अपना बताइए, क्या चाहते हैं?
राकेश कुमार – प्रेम से आपस में बढ़ाने की बात है। आप जो कहेंगे, हम उसे उसी तरीके से आगे करेंगे। अलग रूम में होती है पैसे की डील पार्टी कार्यालय में बहुत भीड़ थी, इसलिए राष्ट्रीय संयोजक राकेश कुमार रिपोर्टर को अलग रूम में पैसे की डील करने के लिए ले गए। वहां उन्होंने कहा देखिए, मुकेश जी (VIP) के टिकट के रेट के बारे में बताया। रिपोर्टर ने सवाल किया, आप कितना लीजिएगा? राकेश ने रिपोर्टर से 5 (5 लाख ) का इशारा किया। राकेश ने कहा, आप बोलिए कितना होगा, हम अध्यक्ष जी को बोल देते हैं। इसके बाद अलग रूम से राकेश फिर हमे कार्यालय में अध्यक्ष और राष्ट्रीय संयोजक के पास ले गया। रिपोर्टर – राकेश जी से 5 की बात हो गई है, दो-तीन दिन का समय दिया जाए।
छोटे सहनी – सही है, कोई दिक्कत नहीं। रिपोर्टर – पेपर क्या-क्या देना होगा?
छोटे सहनी – चेकलिस्ट दे दिया जाएगा। रिपोर्टर – हम आपको 5 लाख देंगे, वह चुनाव आयोग को खर्च में जाएगा ना?
छोटे सहनी – नहीं, यह पार्टी को बढ़ाने का डोनेशन है। हम तो 2000 की सदस्यता रसीद दे देंगे। रिपोर्टर – ऑनलाइन देना होगा या कैश?
राकेश कुमार – 2000 की सहयोग राशि दिखा देंगे, इससे ज्यादा हम ऑनलाइन नहीं लेंगे। बाकी कैश करना है, इसको खर्च में नहीं दिखाना है। आप पार्टी फंड में कुछ भी दे सकते हैं, कोई दिक्कत नहीं है। छोटे सहनी – जिस तारीख को हम सिंबल देंगे।
रिपोर्टर – पैसा उसी दिन देना होगा ना? छोटे सहनी – नहीं, पहले दे दीजिएगा। हमारा तेजप्रताप की पार्टी से गठबंधन है VVIP के राष्ट्रीय महासचिव राकेश कुमार, राष्ट्रीय संयोजक छोटे सहनी और राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रदीप निषाद ने कैंडिडेट बनकर गए रिपोर्टर को तेजप्रताप के नाम पर वोट का गणित बताया। नेताओं ने दावा करते हुए कहा, तेजप्रताप की पार्टी से हमारा गठबंधन है। नेताओं ने रिपोर्टर से जीत के दावे का बेस बताते हुए कहा, मांझी वोट अपने पाले में हैं, VIP के मुकेश की पार्टी का वोट भी अपने पाले में आएगा। तेजप्रताप यादव की पार्टी से अपना गठबंधन है, इसलिए वह भी चुनाव के दौरान प्रचार में जाएंगे। नेताओं के दावे पर हमने तेजप्रताप की पार्टी को लेकर सवाल किए। रिपोर्टर – अगर मोतिहारी सीट तेजप्रताप जी लेते हैं तो क्या होगा?
छोटे सहनी – हम जो देंगे, वही होगा। गठबंधन हमने किया है। रिपोर्टर – बाद में मेरी सीट इधर-उधर तो नहीं होगी ना?
छोटे सहनी – हमारी उनके साथ यही तो अंडरस्टैंडिंग है। रिपोर्टर – तेजप्रताप जी जिद्दी हैं, अगर जिद पकड़ लिए तो?
छोटे सहनी – हमारी घोषणा हो गई तो कुछ नहीं होगा। रिपोर्टर – कितनी सीटों पर गठबंधन हुआ है?
छोटे सहनी – तेजप्रताप बस 25 पर ही चुनाव लड़ेंगे। बिहार विधानसभा चुनाव में छोटी पार्टियों में राष्ट्रीय जन संभावना पार्टी (राजपा) काफी चर्चा में है। चुनाव से पहले ही पार्टी के रंग में रंगी गाड़ियां चर्चा में रहीं। कैंडिडेट बनकर रिपोर्टर ने पहले पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र साहनी से मोबाइल पर बात की। उपेंद्र समझ गए, रिपोर्टर को पटना के बेरिंग रोड पर स्थित पार्टी के ऑफिस बुला लिया। रिपोर्टर – आपका आशीर्वाद मिल जाए तो हम पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़ जाते?
उपेंद्र साहनी – हो जाएगा, इसके लिए थोड़ा-बहुत चंदा-पानी लगता है। रिपोर्टर – चुनाव में तो खर्च लगता ही है।
उपेंद्र साहनी – सौ बात की एक बात, थोड़ा मजबूती मिलनी चाहिए। रिपोर्टर – पार्टी की क्या डिमांड होती है?
उपेंद्र साहनी – बिना मांगे मोती मिले, मांगे मिले न भीख। आप बीजेपी से आए हैं, आपको सब मालूम होगा। रिपोर्टर – आप जो बताएं, हम तैयार हैं?
उपेंद्र साहनी – आप जैसा आदमी एक लाख से कम क्या देगा? रिपोर्टर – समझा नहीं, कितना देना होगा?
उपेंद्र साहनी – एक लाख एक रुपए तो दे ही दीजिए। आपको फायदा हो, इसलिए भाजपा से मिलता राजपा नाम रखा है राष्ट्रीय जन संभावना के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र साहनी ने राजपा से चुनाव लड़ने का बड़ा फायदा बताते हुए दावा किया, भाजपा का 25% वोट राजपा में आता है। कैंडिडेट्स को इससे मिलने वाला फायदा बताते हुए उपेंद्र सहनी ने कहा, भाजपा का चुनाव चिन्ह कमल का फूल है, हमारा गोभी का फूल है। इसीलिए भाजपा से मिलता जुलता नाम राजपा रखा गया है। रिपोर्टर – वोटर बहुत चालाक हैं, भाजपा का वोट ऐसे कैसे मिल जाएगा।
उपेंद्र साहनी – कमल के फूल का चार आना वोट गोभी का फूल काट लेता है। रिपोर्टर – चुनाव में होता है क्या ऐसा?
उपेंद्र साहनी – पूरा होता है, आप मेहनत करेंगे उसमें एक्स्ट्रा 10% वोट मिल जाएगा। रिपोर्टर – भाजपा की तरह राजपा क्यों बना दिए?
उपेंद्र साहनी – हम भाजपा में थे, भाजपा से टिकट मांगे, एक करोड़ खर्च किए फिर भी टिकट नहीं दिया। अब राजपा बनाकर टिकट बांट रहे हैं। रिपोर्टर – फूल भी बना लिए हैं?
उपेंद्र साहनी – हां..हां.. भाजपा कमल का फूल है तो हमने भी गोभी का फूल ले लिया, सब फूले फूल है। भाजपा से भागे थे, इसलिए बना दिए। चुनाव के लिए एक करोड़ रुपए खर्च हुआ, मुंबई में बिल्डर था, सब पैसा खर्च हो गया। रिपोर्टर – कितनी सीटों पर चुनाव लड़ रहे हैं? अब तक कितने टिकट बांट चुके हैं?
उपेंद्र साहनी – अब तक 50 से 60 टिकट जा चुके हैं, डेढ़ सौ और तैयार रखे हैं। रिपोर्टर – टिकट के लिए पैसा कैसे देना होगा, ऑनलाइन या कैश?
उपेंद्र साहनी – जैसे मर्जी आपकी, कर सकते हैं। डोनेशन तो ही देना है। हम तो इसकी रसीद भी दे देंगे। रिपोर्टर – टिकट बनाने की प्रक्रिया क्या है?
उपेंद्र साहनी – आधा घंटा लगेगा, टिकट बनाकर दे देंगे। आज अभी हमारे हाथ में है, कल किसी और को दे दिया तो कुछ नहीं होगा। कैंडिडेट्स फंसाने के लिए CM, 4 डिप्टी CM का प्लान बताया राजपा में भाजपा की तरह ही सरकार बनाने की तैयारी हो गई है। टिकट के लिए आने वाले कैंडिडेट्स को सरकार बनाने का पूरा प्लान समझाया जाता है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र साहनी ने भास्कर रिपोर्टर को भी टिकट मांगने वाले अन्य कैंडिडेट्स की तरह सरकार का पूरा प्लान बताते हुए दावा किया, उपेंद्र साहनी मुख्यमंत्री बनेगा और 4 डिप्टी सीएम बनाए जाएंगे। रिपोर्टर ने कहा, हम जीतकर आए तो क्या बनेंगे? उपेंद्र सहनी ने कहा, आप मंत्री तो बाद में बनेंगे अभी आपको पार्टी का राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बना देते हैं। सिंबल दिखाते हुए बोले आपका भी सिंबल ऐसे आधे घंटे में बनाकर दे देंगे, बस फार्मेलिटी पूरी करा दीजिए। रिपोर्टर ने फिर सवाल किया, सरकार बनाने का दावा आप किस आधार पर कर रहे हैं? रिपोर्टर – आपकी पार्टी सिर्फ बिहार में है?
उपेंद्र साहनी – नहीं-नहीं, बिहार, यूपी, झारखंड, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, तेलंगाना, मिजोरम, तमिलनाडु, दिल्ली, महाराष्ट्र और कर्नाटक से लेकर देश के 15 राज्यों में हमारी पार्टी है। रिपोर्टर – तब तो फायदा होगा?
उपेंद्र साहनी – हां, अब तक 100 कैंडिडेट्स को टिकट ऐसे थोड़ी दे चुके हैंं। पूरा स्टेट के लोग आएंगे मदद के लिए। रिपोर्टर – चुनाव भी लड़ाते होंगे, अन्य राज्यों में?
उपेंद्र साहनी – नितिन गडकरी के खिलाफ भी लड़ा दिए थे। रिपोर्टर – चुनाव के दौरान प्रचार प्रसार की क्या व्यवस्था होगी?
उपेंद्र साहनी – हमारे स्टार प्रचारक हैं, हम लोग हेलिकॉप्टर भी उड़ाएंगे। सब हवा में उड़ जाएंगे, निश्चिंत रहिए। VVIP के राष्ट्रीय संयोजक छोटे साहनी और राष्ट्रीय महासचिव राकेश कुमार और राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रदीप निषाद ने 5 लाख रुपए में जिस विधानसभा सीट पर टिकट देने का दावा किया, उसी सीट पर तेजप्रताप की पार्टी जनशक्ति जनतादल ने भी टिकट पक्का कर दिया। VVIP ने दावा किया था कि उसकी पार्टी का तेजप्रताप की पार्टी से गठबंधन है, वह टिकट फाइनल कर देंगे तो तेजप्रताप भी नहीं काट पाएंगे। VVIP के दावों की हकीकत जानने के लिए भास्कर रिपोर्टर कैंडिडेट बनकर तेजप्रताप की पार्टी जनशक्ति जनता दल के कार्यालय पहुंचे। यहां हमारी मुलाकात पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मदन यादव से हुई, पॉलिटिकल बायोडेटा लेने के साथ ही उन्होंने टिकट का आश्वासन दे दिया। हालांकि तेजप्रताप की पार्टी ने पैसे की कोई डिमांड नहीं की, लेकिन उसी सीट पर टिकट का आश्वासन दिया जिसके लिए अलायंस की पार्टी ने VVIP ने 5 लाख मांगे थे। रिपोर्टर – मोतिहारी से चुनाव लड़ना चाहते हैं, पार्टी का टिकट मिल जाता तो अच्छा रहता
प्रदेश अध्यक्ष – बायोडेटा में जनशक्ति जनता दल लिखिए और नेताजी का फोटो लगाइए। रिपोर्टर – ऐसा ही कर देते हैं, उम्मीद है टिकट की?
प्रदेश अध्यक्ष – हां, इतना कराइए, फिर बात करते हैं। रिपोर्टर – अगर टिकट की उम्मीद है तो यह तत्काल करा देते हैं?
प्रदेश अध्यक्ष – हो जाएगा..आप भाजपा से आए हैं ना ? मतलब भाजपा में हैं? जाइए टिकट दे दिया। मोतिहारी से बहुत बायोडेटा आया है। रिपोर्टर – हां, भाजपा में हैं, बायोडेटा सही करा के लाते हैं।
प्रदेश अध्यक्ष – आप भाजपा में हैं तो जाइए फाइनल है, आपको टिकट दे देंगे। लाइए कागज आज ही रात 8 बजे आपको टिकट दे देंगे। बस आज और कल का ही समय है। मेरे ऑफिस से कागज सही कराके लाइए आज टिकट फाइनल कर देते हैं। संयुक्त किसान विकास पार्टी ने भास्कर रिपोर्टर को 2 लाख रुपए में टिकट देने की बात कही। पार्टी के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री सूरज प्रकाश राम को भास्कर रिपोर्टर ने कैंडिडेट बनकर कॉल किया। फोन पर तो वह पैसे की कोई डील नहीं की, दूसरे दिन मिलने को बुला लिया। रविवार को सूरज प्रकाश ने पहलवान मार्केट बुलाया और कार्यालय में 2 लाख में टिकट की पूरी डीलिंग की। पहले तो वह कुछ नहीं बोले, लेकिन बाद में स्कॉर्पियों के लिए 2 लाख की डिमांड की। रिपोर्टर – मोतिहारी से चुनाव लड़ना चाहते हैं?
सूरज प्रकाश – ठीक है, आप तैयारी कीजिए। रिपोर्टर – बताएं क्या करना होगा, हम पूरा कर दें जिससे टिकट मिल जाए।
सूरज प्रकाश – हमारे पास एक छोटी गाड़ी है, मदद कीजिए बड़ी गाड़ी हो जाएगी। रिपोर्टर – कितनी मदद करनी होगी?
सूरज प्रकाश – स्कॉर्पियो गाड़ी ले रहे हैं, उसमें ही दो लाख की मदद कीजिए। इस चुनाव में प्रयास है बड़ी गाड़ी के लिए व्यवस्था हो जाए। रिपोर्टर – दो लाख रुपए कैश देना होगा या ऑनलाइन दे सकते हैं?
सूरज प्रकाश – कैश दीजिए, अगर आपको दिक्कत है तो ऑनलाइन कर सकते हैं। रिपोर्टर – दो लाख के बाद चुनाव में और कुछ नहीं देना होगा ना?
सूरज प्रकाश – नहीं.. नहीं, बस एक बर दे दीजिएगा, बाकी हमारे सिंबल पर चुनाव लड़िए। तेजप्रताप से अलायंस में नहीं बनी बात तो खुद बांट रहे टिकट संयुक्त किसान विकास पार्टी के राष्ट्रीय संगठन मंत्री सूरज प्रकाश राम ने दावा किया, वह तेजप्रताप यादव की पार्टी जनशक्ति जनता दल से अलायंस की तैयारी में थे। बातचीत चल रही थी, लेकिन अभी तक सीट फाइनल नहीं हुई है। इस कारण वो अब खुद टिकट बांट रहे हैं। सूरज प्रकाश ने बताया, जिस कैंडिडेट का कहीं से रास्ता नहीं बन रहा है तो हम टिकट सिंबल सब देने को तैयार हैं। तेजप्रताप की पार्टी से अलायंस नहीं हुआ, अब नामांकन चालू हो गया है। ऐसे में हमने अकेले चुनाव लड़ने का फैसला किया है। सूरज प्रकाश ने कहा, टिकट सबका बराबर है। हम लोग चुनाव में पैसा न तो लेते हैं, ना ही देते हैं। स्वेच्छा से कुछ पार्टी फंड में कैंडिडेट दे देते हैं। भाजपा और राजद के टिकट की आस लगाने वाले आज हमसे टिकट लेकर गए हैं। वहां तो करोड़ों रुपए देने के बाद भी टिकट नहीं मिल रहा है। जिसे कहीं से मौका नहीं मिल रहा है, वह हमारे पास आ रहे हैं। सबका टिकट और सिंबल एक जैसा आएगा, बस ब्रांड अलग है। बड़ी पार्टियों के लिए तो लोग पैसे लेकर ढूंढ रहे हैं, बैग भरकर पैसे लेकर घूम रहे हैं। भास्कर की डील में कई पार्टियां ऐसी भी हैं, जो टिकट के लिए पैसे की डिमांड को लेकर अलर्ट हैं, लेकिन पार्टी फंड में सहयोग की बात कर रही हैं। भास्कर की इन्वेस्टिगेशन में कई पार्टियों ने सीधा पैसा की डील नहीं कर बचाव के लिए पार्टी फंड की बात की। ‘ऑपरेशन टिकट के सौदागर पार्ट – 2’ में देखिए जिन पार्टियों की अन्य राज्यों में सरकारें रही हैं वह बिहार में कैसे बेच रहीं टिकट…