मायावती पर आजम बोले- उनकी बहुत इज्जत करता हूं:यह बात उन तक कैसे पहुंची, मुझे पता नहीं; बसपा में जाने की कयासों पर दिया जवाब

आजम खान ने मायावती के उस बयान पर जवाब दिया, जिसमें उन्होंने कहा था कि मैं किसी से चोरी छिपे नहीं मिलती। आजम ने कहा- मैं इस पर थोड़ा दुख जाहिर करता हूं। उन्हें कैसी खबर पहुंची, यह मुझे पता नहीं। मैं ही नहीं, पूरा देश उनका बहुत सम्मान करता है और वे इसकी हकदार भी हैं। वह मुख्यमंत्री रहीं न रहीं इससे कोई लेना देना नहीं। वह बड़े जनसमूह की नायक हैं। वह एक बड़ी नेता हैं। मैं उनकी इज्जत करता हूं और उनका सम्मान करता हूं। अगर किसी माध्यम से उन्हें ऐसी कोई खबर पहुंची। जिससे उन्हें दुख पहुंचा हो, तो मुझे अफसोस है। मेरी नजर में उनकी अहमियत है। मेरे दिल में उनके लिए कोई कमी नहीं है। मुझे उम्मीद है कि आगे भी यही स्थिति बनी रहेगी। वह बड़ी सियासतदान हैं, मैं तो एक छोटा कार्यकर्ता हूं। पर जब वह रामपुर आईं थी। तब वह मेरी मेहमान थीं। उन्होंने महसूस किया होगा कि मेरा उनके प्रति स्नेह किस तरह का है। मेरा उनसे जुड़ाव है। दरअसल, आजम के जेल से छूटने के बाद अफवाह उड़ी थी कि वह बसपा ज्वाइन कर सकते हैं। इन अटकलों पर मायावती ने कहा था- मैं ऐसे किसी से छिपकर नहीं मिलती, जब भी मिलती हूं, खुले में मिलती हूं। इसी को लेकर आजम ने आज जवाब दिया है। मैं ऐसी बात नहीं करता जो दुख का कारण बने एएनआई से बातचीत में आजम खान ने कहा- काशीराम से भी मेरा रिश्ता काफी पुराना रहा है। यह शायद बहुतों को मालूम न हो कि वह सुबह चार बजे मेरे पास आते थे। उन्हें मालूम था कि मैं फज्र की नमाज पढ़ता हूं। वह मुझसे कहते थे कि मैं ऐसे ही वक्त आता हूं ताकि आप मिल जाएं। उनसे मिलने पर आधा या एक घंटा बात होती थी। मेरा उनके बड़ों से भी रिश्ता रहा है। मैं ऐसा नहीं हूं कि कोई ऐसी बात करू या कहूं जो दुख का कारण बन जाए। शिकायत का सबब बन जाए। मुझे अगर मिलना होगा तो जरूरी नहीं कि कोई राजनीतिक कारण हो। हमारी कुछ मानवीय जरूरतें भी हो सकती हैं समाजी भी हो सकती हैं। उसके लिए हम मिल ही सकते हैं। कभी भी जरूरत होगी तो हम मिल सकते हैं। मैं उनका शुक्रिया अदा करता हूं कि उन्होंने कोई ऐसी बात नहीं बोली जिससे मेरे दिल को ठेस पहुंचे। उनकी जो राजनीतिक शिकायत है। उसका जवाब उनके स्तर के लोग ही बेहतर तरीके से दे पाएंगे। अब वो देंगे या नहीं देंगे वो बेहतर जानते हैं। मैं पिछले 8-10 साल से ऐसे हालात का शिकार हूं कि मुझे यही नहीं मालूम कि कौन-सा पार्क कहां था अब कहां है। यह 10 साल बहुत ही सख्त गुजरे हैं। मुझे मालूम नहीं आने वाला समय कैसा होगा। अगर सत्ता में आते हैं जिसकी उम्मीद की जा सकती है। तो कोशिश की जाएगी कि उनकी शिकायतों का समाधान हो। आगे कोई ऐसा मौके न मिले उन्हें। आगे जो समाजी और राष्ट्र के लिए काम है। उनपर किसी तरह की ऊंच-नीच की बात आए। ………………………………. ये खबर भी पढ़ें… आजम बोले- मुकदमा चला तो फिर जेल चले जाएंगे:रामपुर सांसद को बड़ा आलिम कहा, मिलने क्यों नहीं आए, वजह बताई ‘मैंने रामपुर की पहचान कलम से करना चाही, उसकी सजा इतनी तो नहीं मिलनी चाहिए, जितनी मिल रही है। मैं चोर हूं। मुझ चोर पर डकैती की धाराएं लगा दी गईं।’ ये दर्द है सपा के कद्दावर नेता आजम खान का, जो उन्होंने ‘दैनिक भास्कर’ से विशेष बातचीत में बयां किया। पढ़ें पूरी खबर…

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *