कानपुर में बुधवार रात को हुए विस्फोट में बड़ा खुलासा हुआ। 7.10 बजे हुए धमाके के बाद पाकिस्तान झंडे लगे X अकाउंट से मैसेज फ्लैश किए गए। इसके बाद लखनऊ और दिल्ली की इंटेलिजेंस यूनिट एक्टिव हो गईं। ये मैसेज थे- कानपुर के मिस्री बाजार में मरकज मस्जिद के पास 2 स्कूटर में धमाका हुआ। इसमें सेना के 8 जवान मारे गए हैं। विस्फोट में पुलिस को चोरी की स्कूटी मिली। ये स्कूटी किसकी है? धमाके के वक्त बाजार में क्यों छोड़ी गई? इन सवालों का पीछा करते हुए NIA और ATS को एक CCTV मिला है। इसमें 2 लड़के इस स्कूटी को लेकर बाजार पहुंचते दिखते हैं। स्कूटी को अब्दुल की दुकान के बाहर खड़ा किया। इसके ठीक 10 मिनट बाद जोरदार धमाका हुआ, जोकि दुकान के बाहर रखे बाक्स में हुआ था। इसके 18 घंटे बाद CCTV फुटेज की मदद से पुलिस कमिश्नर रघुवीर लाल ने कहा- घटना में किसी आतंकी संगठन का हाथ नहीं है। मगर पाकिस्तान के झंडे लगे जिन X अकाउंट से देश विरोधी मैसेज चलाए गए। उसके पीछे बड़ी साजिश लग रही है। ऐसे में हम 2 तरह की जांच कर रहे हैं। पहली- ये X अकाउंट किस IP एड्रेस पर चलाए जा रहे थे। क्या ये पाकिस्तान से हैंडल किए गए या भारत के किसी शहर से चलाए जा रहे थे। दूसरा- मस्जिद के पास ब्लास्ट और सेना के 8 जवान मारे जाने की सूचना ही क्यों चलाई गई, इसका मकसद क्या था? धमाका होने के बाद कानपुर पुलिस ने मूलगंज, फजलगंज, नौबस्ता और गोविंदनगर में सर्च ऑपरेशन चलाया। इसमें 100 क्विंटल पटाखों की अवैध स्टोरेज पकड़ी गई है। इसकी कीमत करोड़ों में है। 26 लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। इसमें 18 सिर्फ मूलगंज के हैं। DGP ऑफिस और गृह विभाग को कानपुर कमिश्नर ऑफिस से रिपोर्ट बनाकर भेज दी गई है। इस मामले को और करीब से समझने के लिए दैनिक भास्कर टीम ग्राउंड जीरो पर पहुंची। पढ़िए रिपोर्ट… धमाके के बाद बाजार का माहौल जानिए 20 फीट स्पॉट पीले फीते से घेरा, 150 दुकानें बंद
मूलगंज के बिसाती बाजार में हम उस स्पॉट तक पहुंचे, जहां बुधवार रात 7.45 बजे धमाका हुआ था। यहां फोरेंसिक और थाने की पुलिस ने 20 फीट एरिया को पीले फीते से ब्लॉक किया हुआ था। ये एरिया अब्दुल की दुकान के बाहर था। इसके 100 मीटर के दायरे में करीब 150 दुकानें बंद थीं। सुरक्षा को देखते हुए आम लोगों को इस रास्ते पर आने-जाने की मनाही थी। जिन दुकानों के स्टाफ की वहां मौजूदगी थी, उनके चेहरे पर भी डर साफ देखा जा सकता था। ये बिसाती बाजार पूरे स्टेट के व्यापार में पैठ रखता है, सामान्य दिनों में यहां बहुत भीड़ रहती है, मगर आज यहां सन्नाटा पसरा हुआ था। पुलिस और सादे कपड़ों में अधिकारी यहां बार-बार जांच के लिए पहुंच रहे थे। रात में 2 दुकानों के ताले काटे गए थे, इनके अंदर से 250 kg विस्फोटक (पटाखा) मिला, इस स्टोरेज की अनुमति दुकानदारों को नहीं थी। इस वक्त पुलिस के टारगेट पर वो दुकानें हैं, जो बंद रखी जा रही है। माना जा रहा है कि इनके अंदर भी पटाखों की स्टोरेज है। भास्कर टीम ने धमाके के एक चश्मदीद महिला से बात की… कानपुर की नेहा सोलंकी धमाके के वक्त बिसाती बाजार में चंद कदम पर मौजूद थीं। दैनिक भास्कर टीम ने उन्हें ढूंढा और बात की। सवाल : जब धमाका हुआ, तब आप कहां थीं, क्या हुआ था?
नेहा : मेरे हसबैंड की मूलगंज पर ही दुकान है। हम बुधवार शाम को बिसाती बाजार में शॉपिंग कर रहे थे। एक दुकान पर सामान खरीदा, पैसा दिया ही था कि धमाका हो गया। तेज धक्का लगा, हम लोग गिर पड़े। धूल का गुबार ऐसा उड़ा कि एक-दूसरे का चेहरा तक नहीं दिख रहा था। पूरा सन्नाटा पसर गया, लगा कि हम लोग बच नहीं पाएंगे। 20 मिनट तक कुछ नहीं दिख रहा था। हमारे ऊपर कुछ गिर रहा था। सवाल : क्या आप दोनों को चोट पहुंची थी?
नेहा : कुछ देर बाद खुद को संभाल सके। फिर टटोल-टटोलकर मैंने अपनी बहन का हाथ पकड़ा और बाजार से बाहर आए। रात में तो कोई सुध ही नहीं आ रही थी, सुबह पता चला कि हमारे बाल भी झुलस गए थे। पैर में भी चोट लगी है। मेरी बहन के कान के पीछे चोट पहुंची है। हाथ में जलने के निशान दिखे। सवाल : पुलिस कितनी देर बाद पहुंची थी?
नेहा : आप समझिए, वहां से बस जान बचाकर भागे हम लोग। बाजार में कौन कहां खड़ा था, कौन गिरा, ये देखने की हिम्मत ही नहीं हुई। जब हम दोनों बाहर से बाहर आ रहे थे, तब एम्बुलेंस और पुलिस पहुंची थी। सवाल : धमाके के बाद आप पर क्या असर हुआ?
नेहा : कई लोग चोटिल हुए थे। धूल के गुबार में लोग लड़खड़ाते हुए जाते दिख रहे थे। भगवान की दया थी, जो हम बच गए थे। आप समझिए कि धमाका इतना तेज था कि अभी तक कान सुन्न हैं, कुछ सुनाई पड़ता है, कुछ नहीं सुनाई देता। इतनी दहशत हो गई थी कि रातभर नींद नहीं आई। पुलिस ने FIR में क्या लिखा, ये जानिए मैंने देखा, लोग भाग रहे हैं, खिलौने की दुकान के बाहर धमाका हुआ
मूलगंज थाने के चौबे गोला चौकी इंचार्ज दरोगा विनीत उपाध्याय इस FIR में वादी बने। उनकी तरफ से लिखा गया- बुधवार शाम को मैं गश्त पर था। करीब 7.10 बजे बिसाती बाजार में तेज धमाका सुनकर मौके पर पहुंचा। देखा कि धुआं और धूल का गुबार उठा हुआ है, डर के कारण लोग भाग रहे थे। लोगों ने बताया कि तेज धमाके के चलते उनके घरों की दीवार में कंपन आ गया। किसी के घर का शीशा टूट गया, तो किसी के डाइनिंग से कप-प्लेट गिरकर टूट गई, किसी के कमरे का फॉल सीलिंग गिर गया। मौके पर पड़ताल की तो सामने आया कि अब्दुल बिलाल जोकि बिसाती बाजार मेस्टन रोड कानपुर में अपनी खिलौने की दुकान लगाता है, उसकी दुकान पर विस्फोट हुआ है। मौके पर 7 से 8 लोग झुलसे दिखे। खिलौने की दुकान के सामने विस्फोट हुआ था। इसके बाद फोरेंसिक टीम आ गई, उन्होंने सबूत जुटाए। अब पुलिए एक्शन जानिए पुलिस कमिश्नर बोले- घटना में आतंकी संगठन का हाथ नहीं
पुलिस कमिश्नर रघुवीर लाल ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की। बताया- यह मामला अवैध पटाखों के भंडारण से जुड़ा है। जिस दुकान के सामने विस्फोट हुआ, उसके पास भी काफी मात्रा में पटाखे मिले हैं। घटना वाली जगह से 25 मीटर दूरी पर एक गोदाम मिला है। वहां भी काफी मात्रा में विस्फोटक पाया गया। जांच के दौरान लापरवाही मिलने पर मूलगंज थाना प्रभारी विक्रम सिंह, चौकी प्रभारी रोहित तोमर, कॉन्स्टेबल चेतन कुमार, अमित कुमार, ब्रह्मानंद और हेड कॉन्स्टेबल इमामुल हक को सस्पेंड किया गया है। कोतवाली क्षेत्र के एसीपी आशुतोष कुमार को भी हटा दिया गया है। बिना लाइसेंस पटाखे रखने वालों पर कार्रवाई की जा रही है। अब तक घटना में 12 व्यक्तियों की पहचान की गई है। घटनास्थल से दो स्कूटी बरामद की गई हैं। इनमें से एक स्कूटी सवार को गंभीर हालत में लखनऊ रेफर किया गया। वहीं, दूसरी स्कूटी चोरी की है। इस स्कूटी को लेकर हमारे पास कुछ सबूत आए हैं, CCTV भी मिला है। हम जल्द कुछ और अरेस्टिंग करेंगे। घटना मस्जिद के पास हुई, इसे लेकर सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाई गई। इसे “खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स” जैसी गतिविधियों से जोड़ने वाले सभी दावे गलत हैं। यह घटना अवैध रूप से पटाखे रखने के कारण हुई। अवैध पटाखा स्टोरेज से हालात बिगड़े, आधी रात दुकानों के ताले पुलिस ने तोड़े
पुलिस के अनुसार, दिवाली के पहले बिसाती बाजार पटाखों का बड़ा बाजार बन जाता है। यहां की दुकानों में अवैध ढंग से बड़ी मात्रा में पटाखों को स्टोर किया जाता है। धमाके की वजह पता चलने के बाद पुलिस कमिश्नर रघुवीर लाल ने सर्च एंड सीज ऑपरेशन चलाकर दुकानों की तलाशी करवाई। कई दुकानों के ताले भी तोड़े गए। करीब 2 घंटे तक चली कार्रवाई के बाद पुलिस को कई दुकानों में सामान के नीचे छिपाकर रखे गए पटाखे मिले। देर रात करीब 2 बजे तक सर्च अभियान चला। दुकानों में स्टोर किए भारी मात्रा में पटाखे मिले। इसके बाद 9 अक्टूबर की सुबह भी कानपुर के 4 इलाकों में सर्च ऑपरेशन चलाया गया। इसमें अब तक की सबसे बड़ी अवैध पटाखों का भंडारण मिला है। ये करीब 10 क्विंटल बताई जा रही है। इसको जब्त किया गया है। अब 10 अक्टूबर को पुलिस इस मामले में पकड़े गए 26 लोगों से पूछताछ में सामने आए नए फैक्ट रखेगी। पुलिस कमिश्नर रघुबीर लाल कहते हैं- हम इस मामले के सभी पहलु की जांच कर रहे हैं। कई नए फैक्ट भी सामने आए हैं।
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