अररिया के पूर्व सांसद और जोकीहाट विधानसभा क्षेत्र से 4 बार विधायक रहे सरफराज आलम ने राजद छोड़ कर प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज जॉइन कर लिया। प्रशांत किशोर और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उदय सिंह ने उन्हें सदस्यता दिलाई। इस दौरान प्रशांत किशोर ने मुकेश सहनी और महागठबंधन पर तंज करते हुए कहा कि कोई खुद ही खुद को डिप्टी सीएम बना लेता है, लेकिन उसे एक सीट नहीं मिली। महागठबंधन के लोग बताएं कि मुकेश सहनी अब उनके साथ हैं या नहीं? कई जगहों पर दो सिंबल बांटे गए हैं। यह अब सत्ता की लड़ाई नहीं, बल्कि सीटों की नीलामी बन चुकी है। आने वाले दिनों में वे ‘सीट बिक्री के खेल’ का खुलासा करेंगे। बालू माफिया का खेल सबके सामने है, जल्द ही मैं बताऊंगा कि किस तरह सीटों की बोली लगाई गई। वहीं, जनसुराज में शामिल होने के बाद सरफराज आलम ने कहा कि प्रशांत किशोर ने बिहार को बदलने की ठानी है। 30 साल से मैं राजनीति में घुटन महसूस कर रहा था। बिहार में पलायन, बेरोजगारी और भ्रष्टाचार पर कोई काम नहीं हुआ। अब समय है बदलाव का। जनसुराज के जरिए सीमांचल का भला होगा। पीके के रीजन और विजन से ही बिहार में परिवर्तन संभव है। पिछले तीन दशकों में केवल वादे हुए, लेकिन जमीन पर विकास नहीं दिखा। धनपशुओं ने राजनीति को कब्जा लिया है, लेकिन अब जनता जाग चुकी है। प्रशांत किशोर ने कहा- अब सीमांचल में डर की नहीं, विकास की राजनीति होगी आगे प्रशांत किशोर ने कहा कि सरफराज जी अब औपचारिक रूप से जनसुराज का हिस्सा बने हैं। वे पिछले कई महीनों से हमारे साथ जुड़े हुए हैं। सीमांचल के कार्यकर्ताओं की इच्छा थी कि सरफराज जी ही जनसुराज से जुड़ें। अब सीमांचल में डर की राजनीति खत्म होकर विकास की राजनीति शुरू होगी। सरफराज आलम पहले भी मेरे साथ जेडीयू में काम कर चुके हैं, और अब फिर से एक नई सोच के साथ साथ आए हैं। सीमांचल में अब सरफराज को अगुआ के तौर पर लोग देखेंगे। जनसुराज में कोई टिकट नहीं खरीद सकता प्रशांत किशोर ने यह दावा भी किया कि जनसुराज बिहार की एकमात्र ऐसी पार्टी है, जहां पैसे के बल पर टिकट नहीं मिलता। एक ही ऐसा दल है जहां कोई नहीं कह सकता कि टिकट पैसे देकर मिला। हम डरने या डराने वालों में नहीं हैं। बिहार में किसी की ताकत नहीं कि मुझे खरीदे। सम्राट चौधरी पर फिर बोला हमला प्रशांत किशोर ने उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी पर भी तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि उनके नामांकन के साथ दिए गए अपडेटेड एफिडेविट में कई विसंगतियां हैं। सम्राट चौधरी का एफिडेविट देखकर समझ नहीं आया कि उन्होंने दसवीं कब पास की। वे कहते हैं कि कामराज यूनिवर्सिटी से PFC कोर्स किया है, लेकिन यह कोर्स तमिल भाषी लोगों के लिए होता है। जब दसवीं-बारहवीं नहीं किए तो PFC कैसे किया? अगर नहीं बोलते हैं तो साफ है कि फर्जी डिग्री खरीदी गई है। पीके ने आगे कहा कि सम्राट चौधरी 7 लोगों के नरसंहार के आरोपी रहे हैं, लेकिन एफिडेविट में उस केस की स्थिति का कोई उल्लेख नहीं है। अब जब वे तारापुर से चुनाव लड़ रहे हैं तो कानूनी तौर पर उन्हें चुनौती दी जाएगी। तेजस्वी यादव पर बोला हमला तेजस्वी यादव और उनके परिवार पर हमला करते हुए पीके ने कहा कि तेजस्वी जी और उनके माता-पिता सबको तीसरे नंबर पर धकेल देंगे। वे जो पार्टी चला रहे हैं, वह उनके पिता की बनाई हुई है। हमारे पास चोरी या लूट का पैसा नहीं है। हम राजनीति में बदलाव के लिए हैं, सत्ता के लिए नहीं।