संसद में सोमवार से शीतकालीन सत्र (विंटर सेशन) की शुरुआत हो रही है। लोकसभा और राज्यसभा में कार्यवाही 11 बजे शुरू होगी। शीतकालीन सत्र 1 दिसंबर से 19 दिसंबर तक चलेगा। 19 दिन में सत्र में 15 बैठकें होंगी। इस दौरान एटॉमिक एनर्जी बिल समेत 10 नए बिल पेश हो सकते हैं। सत्र के पहले दिन दोनों सदनों में 7 राज्यों में चल रहे स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) को लेकर हंगामा हो सकता है। विपक्ष लगातार SIR को लेकर सरकार पर हमलावर है। SIR के काम में लगे BLO की मौतों का मुद्दा भी उठ सकता है। आरोप है अधिक दबाव के कारण BLO खुदकुशी कर रहे हैं या उनकी मौत हो रही है। इधर बिहार चुनाव में भाजपा के नेतृत्व वाली NDA की रिकॉर्ड जीत के बाद विपक्ष एक बार फिर वोट चोरी का मुद्दा उठा सकता है। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी लगातार मुख्य चुनाव आयुक्त और चुनाव आयोग पर हमलावर हैं। संभावना जताई जा रही है कि विपक्ष इस सत्र में CEC ज्ञानेश कुमार के खिलाफ महाभियोग भी ला सकता है। उधर इलाहाबाद हाईकोर्ट के जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ चल रहे महाभियोग को लेकर बनाई गई स्पेशल कमेटी भी अपनी रिपोर्ट रखेगी। जस्टिस वर्मा के बंगले पर बने सर्वेंट क्वार्टर से 14 मार्च को जले हुए नोट बरामद हुए थे। इसके अलावा सरकार दिल्ली में 10 नवंबर को हुए ब्लास्ट को लेकर भी चर्चा हो सकती है। विपक्ष नेशनल सिक्योरिटी का मुद्दा उठा सकता है। वहीं, राहुल और सोनिया गांधी पर नेशनल हेराल्ड केस में दर्ज नई FIR और दिल्ली में प्रदूषण और नए लेबर लॉ को लेकर भी हंगामे के आसार हैं। 30 नवंबर: सरकार ने सर्वदलीय बैठक बुलाई शीतकालीन सत्र से पहले रविवार को सर्वदलीय बैठक बुलाई गई थी। इस मीटिंग में विपक्ष के सभी सीनियर लीडर शामिल हुए। इस दौरान पार्लियामेंट्री अफेयर्स मिनिस्टर किरेन रिजिजू ने कहा- हम विपक्षी पार्टियों की बात सुनेंगे। यह विंटर सेशन है, हम उम्मीद करते हैं कि सब लोग ठंडे दिमाग से काम करेंगे और गरमागरम बहस से बचेंगे। उन्होंने कहा, पार्लियामेंट में एक सार्थक चर्चा होगी, कोई डिस्टरबेंस नहीं होगा। अगर हम ठंडे दिमाग से काम करेंगे, तो यह देश के लिए फायदेमंद होगा और पार्लियामेंट सेशन आसानी से चलेगा। SIR मुद्दे पर रिजिजू ने कहा- मैं यह नहीं कह सकता कि हम चर्चा के लिए कौन से मुद्दे लाएंगे। इलेक्शन कमीशन अपना काम करता है। मैं इलेक्शन कमीशन का स्पोक्सपर्सन नहीं हूं। शीतकालीन सत्र में 10 नए बिल पेश होंगे संसद के शीतकालीन सत्र में 10 नए बिल पेश होंगे। लोकसभा बुलेटिन में शनिवार (22 नवंबर) को इसकी जानकारी दी गई थी। इनमें सबसे अहम एटॉमिक एनर्जी बिल है, जिसके तहत पहली बार निजी कंपनियों (भारतीय और विदेशी) को न्यूक्लियर पावर प्लांट लगाने की अनुमति देने का प्रस्ताव है। फिलहाल देश में सभी परमाणु संयंत्र सरकार के नियंत्रण वाली कंपनियां जैसे NPCIL ही बनाती और चलाती हैं। बिल पास होने पर निजी क्षेत्र को भी न्यूक्लियर पावर प्रोडक्शन में प्रवेश मिलेगा। सत्र में आने वाला दूसरा बड़ा बिल ‘हायर एजुकेशन कमीशन ऑफ इंडिया’ बिल होगा। इसमें UGC, AICTE और NCTE जैसे अलग-अलग रेगुलेटरी संस्थानों को खत्म करके एक ही राष्ट्रीय कमीशन बनाने की योजना है। सरकार का कहना है कि इससे उच्च शिक्षा व्यवस्था अधिक सुगम और प्रभावी होगी। अहम बिल जो पेश होंगे, उनसे क्या बदलाव मुख्य चुनाव आयुक्त के खिलाफ महाभियोग ला सकता है विपक्ष संसद के शीतकालीन सत्र में I.N.D.I.A. ब्लॉक मुख्य निर्वाचन आयुक्त (CEC) ज्ञानेश कुमार के खिलाफ महाभियोग ला सकता है। मानसून सत्र के दौरान 18 अगस्त को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के आवास पर I.N.D.I.A. ब्लॉक की बैठक हुई थी। बैठक के बाद कांग्रेस, TMC, सपा, DMK, राजद समेत 8 विपक्षी दलों ने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस की। इसमें TMC महासचिव अभिषेक बनर्जी ने कहा था- संसद के मौजूदा सत्र (मानसून सत्र) में 3 दिन बाकी हैं। महाभियोग लाने के लिए 14 दिन पहले नोटिस देना जरूरी है। CEC के रवैये को देखते हुए हम अगले सत्र (शीतकालीन सत्र) में नोटिस देंगे। दरअसल राहुल गांधी चुनाव आयोग पर वोट चोरी के आरोप में अब तक तीन प्रेस कॉन्फ्रेंस (4 नवंबर, 18 सितंबर, 7 अगस्त) कर चुके हैं। उन्होंने आयोग को मोदी सरकार की “B टीम” भी कहा था। भाजपा के साथ वोट चोरी करने का आरोप लगाया था। जस्टिस वर्मा महाभियोग के तहत हटाए जा सकते हैं कैश कांड मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट के जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ संसद के इस सत्र में महाभियोग की प्रक्रिया पूरी हो सकती है। मानसून सत्र में उनके खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव पेश हुआ था, फिर सत्र के दौरान ही 12 अगस्त को लोकसभा में स्पीकर ओम बिरला ने महाभियोग प्रस्ताव को मंजूरी दी थी। स्पीकर ने जांच के लिए 3 सदस्यीय कमेटी का ऐलान किया था। इसमें सुप्रीम कोर्ट, हाईकोर्ट के 1-1 जज और 1 कानूनविद शामिल हैं। शीतकालीन सत्र में जांच समिति की अपनी रिपोर्ट रखेगी। अगर जस्टिस वर्मा पर आरोप साबित होते हैं तो संसद में वोटिंग के लिए महाभियोग प्रस्ताव पेश होगा। प्रस्ताव के समर्थन में अगर दो तिहाई वोट पड़ेंगे तो प्रस्ताव पास हो जाएगा और राष्ट्रपति की मंजूरी के लिए जाएगा। हालांकि, आशंका जताई जा रही है कि जांच समिति की रिपोर्ट में आरोप तय हुए तो जस्टिस वर्मा खुद इस्तीफा दे सकते हैं। मानसून सत्र- धनखड़ का इस्तीफा, बिहार SIR पर हंगामा संसद में 21 अगस्त से 21 जुलाई तक मानसून सत्र था। पूरे सत्र में कुल 21 बैठकें हुईं। लोकसभा में 120 घंटे चर्चा का समय तय था सिर्फ 37 घंटे ही चर्चा हो सकी। वहीं राज्यसभा में 41 घंटे चर्चा हुई। इस दौरान लोकसभा में 12 बिल और राज्यसभा में 15 बिल पास हुए। सबसे चर्चित बिल गिरफ्तार पीएम-सीएम और मंत्रियों को हटाने वाला संविधान संशोधन बिल रहा। इसे जेपीसी के पास भेजने का प्रस्ताव पारित हुआ। सत्र की शुरुआत राज्यसभा के उपसभापति जगदीप धनखड़ के बीच सत्र में इस्तीफे के साथ हुई। पूरे सत्र के दौरान विपक्ष ने बिहार में स्पेशल इंटेंसिव रिविजन (SIR) पर चर्चा की मांग को लेकर हंगामा और विरोध प्रदर्शन किया, जिससे कार्यवाही नहीं हो सकी। 28 और 29 जुलाई को ऑपरेशन सिंदूर पर विशेष चर्चा हुई जिसका समापन पीएम मोदी के जवाब के साथ हुआ। 18 अगस्त को देश के सफल अंतरिक्ष कार्यक्रम की उपलब्धियों पर विशेष चर्चा शुरू हुई लेकिन बेनतीजा रही। लोकसभा में 419 प्रश्न एजेंडे में रखे गए थे लेकिन विपक्ष के हंगामे के कारण सिर्फ 55 प्रश्नों का ही उत्तर दिया जा सका। वहीं, राज्यसभा में 285 प्रश्न एजेंडे में रखे गए लेकिन 14 प्रश्न का जवाब दिया जा सके। मानसून सत्र की 3 महत्वपूर्ण घटनाएं… 21 जुलाई: राज्यसभा में जगदीप धनखड़ का उपराष्ट्रपति के पद से इस्तीफा जगदीप धनखड़ ने 21 जुलाई की रात अचानक देश के 14वें उपराष्ट्रपति के पद से इस्तीफा दे दिया था। 74 साल के धनखड़ का कार्यकाल 10 अगस्त 2027 तक था। बीच सत्र में इस्तीफा देने वाले धनखड़ पहले उपराष्ट्रपति हैं। पूरी खबर पढ़ें… 22 जुलाई: विपक्ष का पहले से आखिरी दिन तक बिहार SIR पर हंगामा मानसून सत्र के दूसरे दिन 22 जुलाई को लोकसभा और राज्यसभा विपक्ष ने बिहार SIR को लेकर हंगामा किया। सांसदों ने सदन के अंदर और बाहर विरोध किया। ये विरोध प्रदर्शन पूरे सत्र के दौरान जारी रहा जिससे दोनों सदन में पूरे दिन की कार्यवाही नहीं हो सकी। पूरी खबर पढे़ं… 29 जुलाई: ऑपरेशन सिंदूर 16 घंटे चर्चा, PM मोदी और राहुल गांधी के बीच तीखी बहस लोकसभा में 29 जुलाई को ऑपरेशन सिंदूर पर 16 घंटे लंबी बहस हुई। पीएम मोदी और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी इसमें हिस्सा लिया। राहुल गांधी ने 36 मिनट की स्पीच में कहा, ‘अगर दम है तो प्रधानमंत्री यहां सदन में यह बोल दें कि वह झूठ बोल रहे हैं। ऑपरेशन सिंदूर पर लोकसभा में 16 घंटे से ज्यादा बहस चली।’ पीएम मोदी ने एक घंटा 40 मिनट की स्पीच में ट्रम्प का नाम लिए बिना कहा, ‘ऑपरेशन सिंदूर के दौरान दुनिया में किसी भी देश ने भारत को अपनी सुरक्षा में कार्रवाई करने से रोका नहीं है।’ पूरी खबर पढ़ें… पिछले शीतकालीन सत्र में 4 बिल पेश किए गए थे पिछला शीतकालीन सत्र 25 नवंबर 2024 से 20 दिसंबर 2024 तक चला था। पूरे सत्र में कुल 20 बैठकें हुईं। दोनों सदन (लोकसभा और राज्यसभा) में लगभग 105 घंटे कार्यवाही चली। सत्र के दौरान लोकसभा की प्रोडक्टिविटी 57.87%, राज्यसभा में 41% रही। सदन में कुल चार बिल पेश किए गए। हालांकि, कोई पारित नहीं हो सका। सबसे चर्चित एक देश, एक चुनाव के लिए पेश हुआ 129वां संविधान (संशोधन) बिल रहा।